शनिवार को मोदीपुरम स्थित सरदार वल्लभ भाई पटल कृ े षि एवं प्रौद्योगिकी
विश्वविद्यालय में दो दिवसीय कार्यशाला का समापन हो गया। कार्यक्रम में मुख्य
अतिथियों ने इस दौरान कॅरियर एवं पर्सनैलिटी डेवलपमेंट के बारे में विस्तार
से चर्चा की गई। कॅरियर काउंसलरप्रो. अजय अग्रवाल ने कहा कि उद्यमिता की
उपयोगिता व उसमें सफलता पाने के लिए मूल मंत्र बताएं। डॉ. अजय अग्रवाल ने
बताया कि उद्यिमता में सफलता के तीन मंत्र हैं भावना, ज्ञान और कर्म। अपने
सपनों को साकार करने के लिए दृढ़ निश्चय करना होगा। यदि, उद्यमिता सच में ही
नहीं है, तो उसे पाना संभव है एक बार उद्देश्य निश्चित होने के पश्चात उस
उद्देश्य को पाने के लिए जितना ज्ञान चाहिए, उसे प्राप्त करना है।
अनिल
श्रीवास्तव ने वेस्ट चीजों को रिसाइकिलिंग करने के तरीके बताए। प्रो. आरएस
सेंगर ने कहा कि छात्र-छात्राओं को चाहिए कि वह अपनी कमजोरी को खूबी बनाकर
कंपनी के सामने पेश करें। कहा कि कंपनी के हर ऐसे पेशवारों के चयन को अधिक
प्राथमिकता देते हैं, जिनकी क्षमताएं व कौशल कंपनी के लिए लाभदायक होते हैं।
प्रो. सत्य प्रकाश ने कहा कि छात्रों को अपनी क्षमताओं के बारे में बताना
चाहिए, जिससे साक्षात्कार में वह सफल हो सके। प्रो. डीबी सिंह ने कहा कि
साक्षात्कार में अपनी व्यक्तिगत ताकत की जगह अपनी क्षमताओं के बारे में बताने
का प्रयास करें। समारोह में लगभग 240 छात्र-छात्राओं ने हिस्सा लिया। डॉ. मधु
वत्स, डॉ. अनिल रावत, प्रो. शालिनी गुप्ता, डॉ. देश दीपक आदिरहे।