सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को नीट यूजी पेपर लीक और इसकी सीबीआई जांच की मांग
वाली याचिका पर सुनवाई की। कोर्ट ने कहा कि एनटीए दो हफ्तों के अंदर इस पर
अपना पक्ष रखे। इस मामले पर 8 जुलाई को अगली सुनवाई होगी। पिटीशनर हितेश
सिंह कश्यप का आरोप है कि गुजरात के गोधरा में जय जल राम परीक्षा सेंटर को
चुनने के लिए कर्नाटक, ओडिशा, झारखंड आदि राज्यों में 26 छात्रों ने 10-10
लाख रुपए घूस दी थी।
कश्यप ने कहा कि इस सेंटर पर ड्यूटी दे रहे टीचर सहित 5
लोगों को गिरफ्तार किया गया था। गिरफ्तार टीचर के पास से सभी 26 छात्रों की
डीटेल मिली है। इसलिए इस मामले की सीबीआई जांच जरूरी है। वहीं, कुछ
स्टूडेंट्स और पेरेंट्स ने शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान से मुलाकात की।
प्रधान ने भरोसा दिया कि जांच में किसी भी तरह की कोताही नहीं बरती जाएगी।
सरकार पारदर्शी प्रक्रिया के लिए प्रतिबद्ध है।
कोर्ट के सामने पारदर्शिता से
बात रखेंगे। कोर्ट जो भी आदेश देगा, उसका पालन करेंगे। उन्होंने कहा कि
परीक्षा अच्छी हुई है, एक-दो जगह की घटना सामने आई है, इसकी इन्क्वायरी चल
रही है। ये सब कोर्ट के संज्ञान में है। कोर्ट जो भी कहेगा, हम करेंगे।
शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि हमने कुछ स्टूडेंट्स को बुलाया था,
उनके पेरेंट्स से भी मिला।
मैंने उनको आश्वस्त किया है कि सरकार पारदर्शी
प्रक्रिया के लिए प्रतिबद्ध है। 24 लाख एप्लीकेंट्स थे, 23 लाख 33 हजार
विद्यार्थियों ने परीक्षा दी। स्टूडेंट्स की कुछ शंकाएं सामने आई थीं। प्रधान
ने कहा कि 6 सेंटरों पर गड़बड़ियों बात भी सामने आई। ग्रेस मार्क्स को लेकर
भी आपत्ति आई है। कल ही सुप्रीम कोर्ट ने 1500 से ज्यादा स्टूडेंट्स को
दोबारा एग्जाम देने का बोल दिया है। NEET को लेकर सुप्रीम कोर्ट और
हाईकोर्ट्स में 41 पिटीशन लगी हैं।